1 भाग
197 बार पढा गया
11 पसंद किया गया
बताओ खुदाया तुम ही...!! इन बियाबान जंगलों में मैं किस से मिलने को आई हूँ हुए हैं लहू लुहान पैर मेरे और आंखों में आंसू की धारा फ़िर भी हाथ में ...
Don't have a profile? Create